मां ताप्ती तट पर गूंजे जयकारे झांकियों के साथ निकली भव्य शोभायात्रा, जन्मोत्सव पर पूरे क्षेत्र से उमड़े लाखों श्रद्धालु
BETUL NEWS TODAY/मुलताई। पवित्र नगरी में अषाढ़ सप्तमी बुधवार मां ताप्ती की महाआरती के साथ मंदिर में मां ताप्ती का जन्मोत्सव प्रारंभहुआ। दोपहर ठीक 12 बजते ही ताप्ती मंदिर पुजारी पंडित सौरभ जोशी ने मां ताप्ती की आरती प्रारंभ की जिसके बाद मां ताप्ती के जयकारों से पूरा ताप्ती तट गूंजायमान हो उठा। घंटे घड़ियाल एवं शंखनाद से सूर्यपुत्री मां ताप्ती का जन्मोत्सव प्रारंभ हुआ इस दौरान मां ताप्ती मंदिर पर श्रद्धालुओं की भीड़ लग गई तथा श्रद्धालुओं ने पूरे उत्साह से मां ताप्ती की आरती कर जयकारे लगाए। सुबह 6 बजे मां ताप्ती का संत अशोकानंद महाराज द्वारा जिला पंचायत अध्यक्ष राजा पंवार, नरेन्द्र गिरी गोस्वामी, चिंटू खंत्रा, रोशन सावले सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं के साथ 111 लीटर दूध से दुग्धाभिषेक किया गया। इधर मंदिर में मां ताप्ती की प्रतिमा का पंचामृत से अभिषेक किया गया। दोपहर में जयकिशन चंदेल सहित अन्य श्रद्धालुओं द्वारा मां ताप्ती को 51 चुनरी चढ़ाई गई जिसके पूर्व नगर में चुनरी यात्रा निकाली गई। दोपहर 1 बजे नगर पालिका के द्वारा ताप्ती सरोवर में पंचामृत से अभिषेक किया गया जिसमें नपाध्यक्ष वर्षा गढ़ेकर, सभापति अजय यादव, शिल्पा शर्मा, महेन्द्र जैन, कुसुम पंवार, वंदना साहू सहित बड़ी संख्या में नगर नपाकर्मी शामिल हुए।
लाखों की संख्या में पहुंचे श्रद्धालु
मां ताप्ती जन्मोत्सव पर बुधवार मौसम खुला होने से पूरे क्षेत्र सहित अन्य जिलों से लाखों की संख्या में श्रद्धालु पवित्र नगरी पहुंचे। श्रद्धालुओं की भीड़ बसस्टेंड से ही प्रारंभ हो गई जो पूरे प्रर्दाक्षणा मार्ग पर रही। दोपहर भीड़ और अधिक बढ़ गई तथा शोभायात्रा निकलने के बाद मुख्य मार्ग पर तिल रखने की भी जगह नहीं बची। इस दौरान पुलिस की सुरक्षा व्यवस्था चाक चौवंद रही जिससे लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचने के बावजूद कोई भी अप्रिय घटना नहीं हुई। सुबह से प्रारंभ हुई भीड़ नगर में रात तक नजर आई वहीं शाम से नगरवासियों की भीड़ ताप्ती तट पर रात तक उमड़ती रही।
शोभायात्रा में शिव बारात की झांकी रही आकर्षण
दोपहर 2 बजे मुख्य मार्ग पर मासोद तिराहे के पास से मां ताप्ती की शोभायात्रा प्रारंभ हुई। सबसे पहले मां ताप्ती का रथ निकला जिस पर मां ताप्ती विराजी थी। इसके बाद शिव बारात की झांकी जिसमें नंदी पर भगवान शिव एवं पार्वती विराजे थे। उनके साथ औघड़, अघोरी, भूत पिशच साथ चल रहे थे। इस दौरान शिव पार्वती का नृत्य भी आकर्षण का केन्द्र रहा जिसे देखने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ी। गाजे बाजे एवं डीजे के साथ निकली शोभायात्रा में बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल हुए। इसके साथ ही महाबली हनुमान तथा अन्य झांकियां भी लोगों के आकर्षण का केन्द्र रहीं। इधर फव्वारा चौक पर शेष शैया पर विराजे भगवान विष्णु लक्ष्मी की झांकी को भी लोगों ने खूब सराहा।
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फूलों से सजा मां ताप्ती का दरबार
मां ताप्ती जन्मोत्सव पर ताप्ती मंदिर को आकर्षक फूलों से सजाया गया जो दर्शनीय रहा। मंदिर के बाहर जहां फूलों की आकर्षक तोरण लगाई गई वहीं मंदिर में गर्भगृह के सामने फूलों से बने मोर आकर्षण का केन्द्र रहे। मंदिर के गर्भगृह में फूलों की साज सज्जा अत्यंत मनोहारी नजर आई। जन्मोत्सव पर मां ताप्ती की प्रतिमा का आकर्षक श्रंगार किया गया। सुबह से मां ताप्ती के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ लग गई जो रात तक चली। मां ताप्ती के प्राचीन मंदिर की भी आकर्षक सजावट की गई जहां भी सुबह से लेकर रात तक श्रद्धालुओं का पूजन एवं अभिषेक के लिए तांता लगा रहा।
बसस्टेंड पर देवी भजन, फव्वारा चौक पर खाटू श्याम भजन
मां ताप्ती जन्मोत्सव पर बसस्टेंड पर जहां ढाबा संचालक यूनियन द्वारा भव्य देवी जागरण का आयोजन किया गया वहीं खाटू श्याम मंदिर सोनोली धाम ट्रस्ट के द्वारा फव्वार चौक पर खाटू श्याम बाबा के भजनों का आयोजन किया गया। दोनों ही धार्मिक आयोजन में गायक गायिकाओं के द्वारा सुमधुर प्रस्तुति दी गई। बसस्टेंड पर दोपहर 3 बजे देवी जागरण का आयोजन प्रारंभहुआ जिसके बाद कलाकारों द्वारा एक से बढ़कर एक देवी गीत एवं जस की प्रस्तुति दी गई। गायकों द्वारा प्रस्तुत किए गए देवी भजनों पर उपस्थित श्रद्धालु भी जमकर थिरके तथा कार्यक्रम का पूरा आनंद उठाया।
जगह जगह हुए विशाल भंडारे
प्रतिवर्षानुसार इस वर्ष भी मां ताप्ती जन्मोत्सव पर जगह जगह विशाल भंडारे का आयोजन हुआ। बसस्टैंड पर टैक्सी यूनियन के द्वारा भंडारे का वितरण विधि विधान से मां तासी के पूजन उपरांत प्रारंभ किया गया। इधर गुरूद्वारे के पास, थाना रोड पर तथा स्टेशन रोड पर बड़ी संख्या में भंडारों का आयोजन हुआ जिसमें बाहर से आए श्रद्धालुओं ने प्रसादी ग्रहण की सुबह से प्रारंभ भंडारे शाम तक चलते रहे जिसमें हजारों की संख्या में श्रद्धालओं ने प्रसाद ग्रहण किया।