घोड़ाडोंगरी नगर परिषद के लिए संकट बना शासकीय राशि हड़पने का पत्र
दस्तावेज वायरल होने पर सीएमओ ने एफआईआर के लिए दिया आवेदन
Betul Samachar: घोड़ाडोंगरी नगर परिषद के पूर्व सीएमओ ऋषिकांत यादव की विवादित कार्यप्रणाली ने नए सीएमओ के लिए गंभीर समस्याएं खड़ी कर दी हैं। उनके कार्यकाल में एक पत्र जारी किया गया था, जिसमें शासकीय राशि हड़पने के आरोप लगाए गए थे। हालांकि, यह पत्र नगर परिषद अध्यक्ष और उपाध्यक्ष तक नहीं पहुंचा, लेकिन इसकी प्रतिलिपि कलेक्टर महोदय को भेजी जा चुकी थी। अब इस पत्र के सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद, नए सीएमओ कारू सिंह को अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ एफआईआर दर्ज करानी पड़ रही है, जिससे नगर परिषद की प्रतिष्ठा और गोपनीयता दोनों पर सवाल खड़े हो गए हैं।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, तत्कालीन सीएमओ ऋषिकांत यादव द्वारा नगर परिषद के अध्यक्ष और उपाध्यक्ष को उनके पद से हटाने के लिए कलेक्टर बैतूल को एक पत्र भेजा गया था। इस पत्र की जानकारी जब स्थानीय पोर्टल पर वायरल हुई, तो नगर परिषद के अध्यक्ष और उपाध्यक्ष ने इसे लेकर सवाल उठाए। अध्यक्ष हरप्रीत सिंह खनूजा ने बताया कि इस पत्र की एक प्रतिलिपि तो कलेक्टर बैतूल को दी गई थी, लेकिन उन्हें और उपाध्यक्ष को इसकी कोई जानकारी नहीं थी। इस मामले को लेकर नगर परिषद के सीएमओ कारू सिंह ने अधीनस्थ कर्मचारियों को पत्र जारी कर इन दस्तावेजों की मांग की, लेकिन इन दस्तावेजों का कोई पता नहीं चला।
एफआईआर दर्ज करने के लिए दिया आवेदन
जब नगर परिषद के कर्मचारियों से इन दस्तावेजों के बारे में जानकारी नहीं मिल पाई, तो सीएमओ कारू सिंह ने घोड़ाडोंगरी चौकी प्रभारी को अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर वैधानिक कार्यवाही करने के लिए आवेदन दिया। उन्होंने अपने पत्र में बताया कि नगर परिषद के दस्तावेजों का इस तरह से वायरल होना न केवल नगर परिषद की गोपनीयता भंग करता है, बल्कि इससे परिषद की छवि भी धूमिल होती है। उन्होंने मांग की है कि इस मामले की जांच कर दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।
सरकारी दस्तावेज अवैध रूप से वायरल
नगर परिषद के उपाध्यक्ष हरप्रीत सिंह खनूजा ने इस पूरे प्रकरण को लेकर कहा कि नगर परिषद घोड़ाडोंगरी के सरकारी दस्तावेज अवैध रूप से वायरल किए गए हैं, जो कि बहुत ही गंभीर मामला है। उन्होंने कहा कि इस बात की जांच होनी चाहिए कि ये दस्तावेज आज का खुलासा पोर्टल तक कैसे पहुंचे।
वहीं, घोड़ाडोंगरी चौकी की प्रभारी आम्रपाली दहात ने बताया कि नगर परिषद सीएमओ से प्राप्त आवेदन की प्राथमिक जांच की जाएगी और इसके बाद उचित कार्रवाई की जाएगी। इस मामले में पुलिस की जांच के बाद ही आगे की कार्यवाही संभव हो पाएगी।
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