प्रयागराज में वायरल हुआ IITian Baba, जाने क्यों बने साधु बाबा

By betultalk.com

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Mahakumbh 2025 : उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ में आईआईटी पासआउट बाबा अभय सिंह ग्रेवाल काफी छाए हुए हैं। वे लगातार सुर्खियों में बने हुए हैं। अभय सिंह के पिता कर्ण सिंह ग्रेवाल ने अपने बेटे के बारे में कई खुलासे किए हैं। पिता ने बेटे की घर वापसी, शादी और घर बसाने के बारे में जानकारी दी। पिता ने बताया कि एक बार उनकी मां ने कहा था कि घर आ जाओ, शादी कर घर बसा लेंगे, लेकिन उन्होंने कहा कि जब वे संन्यासी बन जाएंगे तो यह सब नहीं चलेगा। पिता ने बताया कि मेरी बेटी ने भी कहा कि पापा उनसे संपर्क कर रहे हैं। लेकिन फिर धीरे-धीरे समय बीतता गया और अब भी मैंने कोशिश की तो पता चला कि वे हरिद्वार में हैं। हम चाहते हैं कि वे घर आ जाएं, लेकिन अब उनके लिए वह दौर खत्म हो चुका है और अब गोपीचंद दौर आ गया है। पिता कहते हैं कि हर किसी को अपनी जिंदगी जीने का हक है, इसलिए मैं उन्हें मजबूर नहीं कर सकता। चूंकि वे आईआईटी ग्रेजुएट हैं और 34 साल के हैं, इसलिए हम उन पर दबाव नहीं डाल सकते।

क्या हो रहा है हरियाणा के झज्जर जिले का युवक आईआईटी ग्रेजुएट है। आईआईटी मुंबई से पढ़ाई की है। लेकिन अब वह बाबा बन गया है। कुंभ मेले तक यह पहुंचा और फिर वायरल हो गया। अभय सिंह को फोटोग्राफी और घूमने का बहुत शौक था। हालांकि बाद में उन्होंने सबकुछ छोड़कर आध्यात्म की राह पकड़ ली। पिता ने बताया कि बेटे ने दिल्ली से आईआईटी परीक्षा की कोचिंग ली थी। उसने मुंबई आईआईटी से मास्टर्स ऑफ डिजाइनिंग का कोर्स भी किया। उसने दिल्ली और कनाडा में काम किया, लेकिन फिर सब कुछ छोड़कर भारत वापस आ गया। गौरतलब है कि अभय सिंह के माता-पिता पेशे से वकील हैं। उनकी बहन अमेरिका में रहती हैं। अभय ने भी कनाडा में काम किया, लेकिन बाद में नौकरी छोड़कर दिल्ली लौट आया।

कहां के रहने वाले हैं IITian बाबा? (Mahakumbh 2025)

जानकारी के मुताबिक, इनका नाम अभय सिंह हैं। अभय हरियाणा के झज्जर जिले के सासरौली के रहने वाले हैं। अभय ने एक इंटरव्यू में बताया था कि वे आईआईटी बॉम्बे से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग पास कर चुके हैं। इसके अलावा वे कई कंपनियों में काम भी कर चुके हैं।

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कितनी थी सैलरी? (Mahakumbh 2025)

इस दौरान उन्होंने कहा वे कनाडा में भी 3 साल रह चुके हैं और वहां वे लाखों रुपये की नौकरी भी करते थे। अभय ने बताया कि वे 2019 में कनाडा गए थे, यहां उन्होंने कनाडा की एक कंपनी में 3 लाख रुपये महीने यानी कि 36 लाख के पैकेज पर काम करते थे। इसके बाद उन्हें काम और जीवन से निराशा होने लगी और वे परेशान रहने लगे। फिर वे अध्यात्म की ओर बढ़े तो उन्हें अच्छा महसूस हुआ। अभय ने इंटरव्यू में कहा था कि मैं कनाडा में हर माह 3 लाख रुपये कमा रहा था, हालांकि, वहां, सैलरी के हिसाब से खर्चे भी हैं। यहां एक सेब 50 रुपये में बिकेगा तो वहां 200 रुपये में बिकेगा। उन्होंने आगे बताया कि वे कनाडा में डिप्रेशन में जूझ रहे थे। इसके बाद उन्होंने मेंटल हेल्थ प्रॉब्लम से निपटने की ठानी और अध्यात्म की ओर मुड़ गए।

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